रिटायरमेंट की प्लानिंग के लिए कौन सा बेहतर विकल्प है: म्यूचुअल फंड्स या इनश्योरेंस(बीमा)?

रिटायरमेंट की प्लानिंग के लिए कौन सा बेहतर विकल्प है: म्यूचुअल फंड्स या इनश्योरेंस(बीमा)? zoom-icon

पेंशन योजना रिटायरमेंट के दौरान सालाना आय का निश्चित सोर्स देती है। मगर, इमरजेंसी के वक़्त वे तुरंत नगद राशि नहीं देती हैं और किसी बदलाव और निवेश के तरीके के मामले में सीमित विकल्प देती हैं। पेंशन योजना के लिए दी गई प्रीमियम(किश्त) पर टैक्स में छूट मिलती है। म्यूचुअल फंड में निवेश से आपको तब तक टैक्स में छूट नहीं मिलती जब तक आप ELSS फंड में निवेश नहीं करते, लेकिन वे आपको आपकी ज़रूरत अनुसार एक रिटायरमेंट प्लान बनाने में ज़्यादा वैराइटी(विविधता) और फ्लेक्सिबिलिटी देते हैं।

अगर आप जवान हैं, तो आप अपनी रिस्क की प्राथमिकता के अनुसार इक्विटी फंड्स में SIP शुरू कर सकते हैं और SIP को अपनी रिटायरमेंट के कुछ साल पहले तक जारी रख सकते हैं। तब तक आपने एक अच्छी राशि बना ली होगी, जिसे आप रिस्क कम करने के लिए रिटायरमेंट से 2-3 साल पहले STP (सिस्टमेटिक ट्रांसफर प्लान) द्वारा शॉर्ट-टर्म डेट फंड्स में ट्रांसफर(डाल) सकते हैं।

अगर आपने SIP द्वारा अपना रिटायरमेंट प्लान नहीं किया है, लेकिन अब रिटायरमेंट से ठीक पहले इस बारे में सोच रहे हैं, तो आप अपनी बचत राशि का लमसम(एकमुश्त) निवेश कर सकते हैं और रिटायरमेंट के बाद हर महीने एक निश्चित राशि निकालने के लिए SWP विकल्प चुन सकते हैं।

पेंशन योजनाओं में कंज़र्वेटिव (बिना किसी परिवर्तन के) आवंटन(एलोकेशन) होता है और संतुलित मुनाफा मिलता है जबकि म्यूचुअल फंड्स के मामले में आपको फंड के साथ उपयुक्त आवंटन(एलोकेशन) चुनना होता है। क्योंकि आपकी इनकम स्लैब के आधार पर सालाना इनकम पर टैक्स लगाया जाता है, जबकि म्यूचुअल फंड से पैसे निकालने पर आप केवल कैपिटल गेन टैक्स देते हैं, म्यूचुअल फंड्स ज़्यादा टैक्स-एफिशिएंट (फायदेमंद) हो सकते हैं।

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म्यूचुअल फंड सही है?